छोटी सीख वाली कहानी – Short Moral Story in Hindi

आज हम आपके लिए छोटी सीख वाली कहानी लेकर आए है। इन कहानियों को पढ़कर आप को आनंद के साथ बहुत कुछ सीखने भी मिलेगा। कहानियां ज्ञान का एक बहुत अच्छा माध्यम है। प्राचीन काल से आजतक कहानियों का उपयोग शिक्षा प्रदान करने के लिए किया जाता है। आज भी हम बच्चों को कहानियों के माध्यम से पढ़ना शुरू करते है। 

छोटी सीख वाली कहानी – संत का ज्ञान

छोटी सीख वाली कहानी
छोटी सीख वाली कहानी – Short Moral Story in Hindi

एक बार की बात है एक राज्य में बहुत ही क्रूर राजा था। वह अपनी प्रजा को बहुत परेशान करता था और उनका सारा धन लूट लेता था। राजा से राज्य का हर आम नागरिक परेशान था। वह अपने मंत्रियों सिपाही और जो भी उसको नजर आता वह सबका धन लूट लेता था। 

 राजा के इस व्यवहार को देखते हुए दूसरे राज्य में भी इसकी चर्चा होने लगी, राजा ने अपने सारे खजाने धन से भर लिए। 

 राज्य के हर संसाधन पर राजा अपना ही अधिकार समझता था और जैसे ही उसे मौका मिलता वह उस पर कब्जा कर लेता। 

 एक बार उनके राज्य में एक संत आए ,उन संत को उनके शिष्यों ने राजा के बारे में पहले ही बता रखा था। संत अच्छे से अवगत थे कि राजा का चाल चलन कैसा है। संत ने राजा को प्रणाम किया और कहा महाराज आप मेरी मदद कर दीजिए मैं बहुत परेशान हूं। मेरे पास एक बहुत कीमती पत्थर है इसको आप गिरवी रख लीजिए। 

 राजा ने पत्थर रखने के लिए तुरंत हां कर दी और संत से पूछा में यह पत्थर आपको वापस कब करूंगा। 

 संत ने बड़ी विनम्रता से उत्तर दिया आप मुझे यह पत्थर मरने के बाद वापिस करना। जब हम दोनों मर जाएंगे तब  हम ऊपर मिलेंगे, तुम मुझे यह पत्थर ऊपर दे देना। 

 राजा अचंभे से बोला आपको इतना नहीं पता कि ऊपर कुछ भी नहीं ले जा सकते। सब कुछ यही रह जाता है। एक तिनका भी हम ऊपर नहीं ले जा सकते। 

 संत ने बड़ी विनम्रता से राजा से कहा जब आप जानते हैं कि हम कुछ भी ऊपर नहीं ले जा सकते तब आप आम जनता को लूट कर इतना धन क्यों इकट्ठा कर रहे हो। 

 राजा को अपनी गलती का तुरंत आभास हो गया और उसने संत से क्षमा मांगी और यह निर्णय लिया कि अब किसी भी व्यक्ति से अनावश्यक धन नहीं लेगा।  जिस पर उसका अधिकार नहीं है वह उसका कभी अधिग्रहण नहीं करेगा।  राज्य और राज्य की जनता का अच्छे से देखभाल करेगा।  Short Moral Story in Hindi

 शिक्षा – हमें कभी भी अपने अधिकार का गलत उपयोग नहीं करना चाहिए। हम अपने कर्मों का फल यहीं भोग कर जाते हैं इसलिए जो उचित है वही करना चाहिए।

छोटी सीख वाली कहानी – आभारी सेवक

छोटी सीख वाली कहानी - Short Moral Story in Hindi
छोटी सीख वाली कहानी – Short Moral Story in Hindi

बहुत पुरानी बात है एक राजा हुआ करता था जिसको बगीचे का बहुत शौक था। उसके महल के पास विभिन्न प्रकार के बगीचे थे जिसमें अनेक प्रकार के फल लगे हुए थे। राजा का एक सेवक प्रतिदिन ताजे फल तोड़कर राजा को खिलाता था। ऐसा कई सालों तक चलता रहा जो भी फल पक जाता वह राजा को ले खिलाता । 

एक दिन राजा बहुत ही परेशान था और राज्य में होने वाली समस्याओं को लेकर अपने ख्यालों में ही डूबा था। राजा एक अंगूर खाता और एक अंगूर एक सेवक को मारता ,जैसे ही अंगूर सेवकों लगता वह कहता भगवान आप बहुत दयालु है। 

 बहुत देर तक यह सिलसिला चलता रहा ,जब राजा का ध्यान टूटा तब राजा ने देखा जैसे ही वह सेवक को मारता है तो सेवक कहता है भगवान आप बहुत दयालु हैं। 

 राजा ने सेवक से पूछा आखिर मैं तुम्हें इतनी देर से अंगूर फेंक कर मार रहा हूं फिर भी तुम कह रहे हो भगवान आप बहुत दयालु हो आखिर ऐसा क्यों ?

 सेवक ने बड़ी विनम्रता से कहा आज अनेक वर्षों में पहली बार ऐसा हुआ है कि एक साथ नारियल ,अमरूद और अंगूर के फल पक गए हैं। 

आज में बगीचे में इसी उलझन में था कि आपके लिए  कौन सा फल लेकर जाऊं, तभी मेरे मन में विचार आया कि मैं आज आपके लिए अंगूर लेकर जाता हूं। अगर मैं आज नारियल या अमरूद लेकर आता तो आज मेरी हालत कुछ और ही होती इसलिए मैं भगवान का शुक्रिया अदा कर रहा हूं, उन्हीं की वजह से मेरे मन में यह विचार आया कि आज मैं आपके लिए अंगूर लेकर आऊं। 

 सेवक की यह बात सुनकर राजा को अपनी गलती का एहसास होता है और वह सेवक से कहता है मैं राज्य की चिंता में अपना कर्तव्य भूल गया था। मैंने जो भी तुम्हारे साथ किया उसके लिए मैं क्षमा का पात्र हूँ। 

 शिक्षा –   हमारी परिस्थिति चाहे कैसी भी हो हमें हमेशा जो मिलता है उसके लिए शुक्रगुजार होना चाहिए।  

दोस्तों आपको छोटी सीख वाली कहानी कैसी लगी हमें कमेंट करके जरूर बताएं। आपके कमेंट से हमें कहानियां लिखने की प्रेरणा मिलती है। जैसा कि आपने पहली कहानी में पड़ा की एक संत ने कैसे राजा को बड़ी आसानी से  इतनी बड़ी बात समझा दी और उसका हृदय परिवर्तन कर दिया। दूसरी कहानी ( Short Moral Story in Hindi )में आपने पढ़ा कैसे एक सेवक ने राजा को उसकी गलती का एहसास कराया इसी प्रकार हमारे जीवन में भी विभिन्न परिस्थितियां आती हैं जब  कोई हमसे बहुत छोटा व्यक्ति या कोई हमसे बहुत बड़ा व्यक्ति गलती करता है पर हमें समझ में नहीं आता कि हम उसे उसकी गलती का एहसास कैसे कराएं।  कभी-कभी हम जानते हैं कि वह गलत है पर हमारे सामने सही शब्द या सही तरीका नहीं होता जिससे हम सामने वाले का हृदय परिवर्तन कर सकें। Short Moral Story in Hindi से हमें बड़ी से बड़ी समस्याओं का हल भी आसानी से मिल जाता। 

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