दोस्तों आज आपके लिए एक सच्चे प्यार की कहानी लेकर आए हैं आपको हमारी यह कहानी कैसी लगती है आप हमें कमेंट करके जरूर बताएं।
यह कहानी है अंश और दिव्या की। दोनों एक दूसरे से कैसे मिले और फिर उनकी जिंदगी में क्या हुआ यह कहानी उस पर आधारित है।
सच्चे प्यार की कहानी
अंश रोज सुबह जिम जाता था। उसको फिट रहने का शौक था जिम, योगा और मॉर्निंग वॉक उसकी हॉबी थी।
रोज की तरह ही इस दिन अंतिम गया आधे घंटे बाद उसने देखा एक सुंदर सी लड़की पहली बार उसी जिम में आई है जिसमें वह रोज जाता था।
रोहित वैसे तो लड़कियों पर ज्यादा ध्यान नहीं देता था पर उस लड़की को देखकर उसको ऐसा लग रहा था।
जैसे मैंने इसको पहले कहीं देखा हो उसमें एक अलग सी चमक उसको दिख रही थी। अंश चाह कर भी उससे नजरें नहीं हटा पा रहा था।
उस लड़की का नाम था दिव्या। दिव्या का आज जिम में पहला दिन था। वह ट्रेडमिल पर चल रही थी। जैसे ही उसकी नजर अंश पर पड़ी वह सीधा उसके पास गई और बोली अरे कैसे हो तुम? बहुत दिन हो गए तुमसे मिले हुए ?
अंश अपने दिमाग पर पूरा जोर लगाकर सोचता है ,आखिर में इसको कहां मिला यह मुझे कैसे जानती है। मैं तो इसको नहीं जानता हूं यही सब अंश के दिमाग में चल रहा था।
इतने में दिव्या बोली तुम मुझे भूल गए क्या, तुम सच में मुझे नहीं जानती ?
सॉरी, पर मुझे सच में याद नहीं, पर ऐसा जरूर लग रहा है कि मैंने तुम्हें कहीं देखा है। अरे मैं दिव्या। दसवीं में हम साथ थे ना।
एक क्लास हमने साथ में पड़ी है उसके बाद मैं दूसरे स्कूल में चली गई थी ,अरे हां मुझे याद आया बहुत दिन हो गए कम से कम 4 साल उसके बाद अब मिली हो , और क्या चल रहा है?
अब क्या बताऊं तुम तो मुझे भूल गए और मैंने तुम्हें देखते ही पहचान लिया। इसकी तो तुमको पनिशमेंट मिलेगी। नहीं तो फिर मैं तुमसे बात नहीं करूंगी।
अच्छा बताओ क्या पनिशमेंट है
यही पनिशमेंट है कि तुम मुझे जिम में गाइड करोगे।
अरे यह पनिशमेंट तो मैं खुशी-खुशी स्वीकार कर लूंगा। दोनों की एक दूसरे से बात होने लगी ,दोनों ने नंबर लिया और एक दूसरे के साथ घूमने फिरने लगे और पुरानी बातें करने लगे।
स्कूल की वह बातें जो हम कभी जिंदगी में नहीं भूलते एक-एक करके सारी बातें बाहर आने लगी।
उनके जीवन का वह हिस्सा जो पहले कभी उन लोगों ने एक दूसरे से कभी नहीं कहा था। दोनों यह जानकर बड़े आश्चर्यचकित थे कि क्लास में इतनी कम बात होने के बाद भी दोनों को एक दूसरों के बारे में सबकुछ पता था ऐसा लग रहा था जैसे दो बिछड़े प्रेमी बड़े सालों बाद मिले हैं।
मजाक मजाक में अंश में दिव्या से पूछा और बताओ तुम्हारा बॉयफ्रेंड कैसा है दिव्या ने हंसकर उत्तर दिया क्या मेरा बॉयफ्रेंड तुमको लगता है मेरा बॉयफ्रेंड होगा। सच्चे प्यार की कहानी – True Love Story In Hindi
इसमें लगने वाली क्या बात है ,तुम इतनी सुंदर हो तुम्हारे पीछे तो लड़कों की लाइन लगी होगी।
यह तो तुमने सच कहा ,मेरे पीछे लड़कों की लाइन तो है पर मैं किसी को भाव नहीं देती।
ऐसा क्यों भला तुम किसी को भाव क्यों नहीं देती ?
मुझे तो कोई स्पेशल चाहिए। जो मुझे समझे , बस इतनी सी बात है और जो भी मुझे मिला वह मुझे नहीं समझता।
और तुम बताओ तुम्हारी गर्लफ्रेंड कैसी है ?
अरे मुझे कहां कोई लड़की मिलेगी। ना मैं इतना हैंडसम हूं और ना इतना पैसे वाला कि मुझसे कोई लड़की प्यार करें।
प्यार के लिए हैंडसम और पैसे होने की जरूरत नहीं है और किसने तुमसे कहा कि तुम हैंडसम नहीं हो ? तुम तो बहुत हैंडसम हो।
तो फिर प्यार के लिए किस चीज की जरूरत है ? प्यार के लिए तो बस एक साफ दिल की जरूरत है और तुम किसी को सच्चा प्यार करो बस इतना ही तो काफी है।
सच में क्या बस इतना ही काफी है। अंश ने जवाब दिया।
अंश दिव्या को चाहने लगा था पर दिव्या की बातों से अंश का कॉन्फिडेंस बढ़ रहा था और वह अपने प्यार का इजहार करना चाहता था।
उसने कहा तो क्या मुझसे भी कोई लड़की प्यार करेगी ?
हां करेगी क्यों नहीं करेगी।
क्या तुम्हारे जितनी सुंदर लड़की भी मुझसे प्यार करेगी ?
अरे मुझसे ज्यादा सुंदर भी लड़की तुमसे प्यार करेगी।
क्या तुम मुझसे प्यार करोगी ?
यह सवाल सुनकर दिव्य चौक गई फिर उसने इस बात को मजाक में लेते हुए कहा तुम भी क्या मजाक कर रहे हो।
मैं अच्छे से जानती हूं तुम मुझसे प्यार नहीं करते हम तो बस दोस्त हैं।
अंश को यह बात अच्छी नहीं लगती और फिर वह बात घुमा कर बोलता है हां सच है मुझसे इतनी सुंदर लड़की कैसे प्यार कर सकती है ?
दिव्या अंश को धीरे से मारकर कर कहती है तुम चुप करो ना कुछ भी बोलते हो,
अंश दिव्या को फिर अच्छे से प्रपोज करता है और अपने दिल का हाल उसको बता देता है।
दिव्या इस बार सीरियस होती है और बोलती है मैंने अभी इस बारे में ज्यादा कुछ सोचा नहीं है। मैं दो-तीन दिन में तुमको इसका जवाब दूंगी।
पहले प्यार का दर्द रहा जिंदगी भर
समय जैसे रुक जाता है अंश की जिंदगी में एक एक मिनट ऐसे गुजरात है जैसे कुछ साल गुजर रहे हो। दो-तीन दिन तो पता नहीं कैसे निकलेंगे। सच्चे प्यार की कहानी – True Love Story In Hindi
अंश दिन रात एक ही बात सोचता रहता है।
अगर वह मना कर देगी तो ,अगर वह हां बोल देगी तो , बस यही सोचता रहता है। ना उसका किसी काम में मन लगता है और ना वह कुछ कर पाता है।
सच्चे प्यार की कहानी
बड़ी मुश्किल से 3 दिन निकल जाते हैं। दिव्या और अंश फिर मिलते हैं। जब से वह मिले थे तब से पहली बार ऐसा हुआ था कि दोनों 3 दिन बाद मिले मिले हो।
दिव्या अंश से कहती है मैं तुमको इसका जवाब बाद में दूंगी पहले मैं एक टेस्ट लेना चाहती हूं। क्योंकि आजकल सच्चा प्यार कोई किसी से नहीं करता इसलिए मैं एक टेस्ट लेना चाहती हूं। अगर तुम उसमें पास हो गए तो ,तुम मेरे प्यार के हकदार बन जाओगे और में इतना प्यार करुँगी जितना कोई किसी से नहीं सकता।
कैसा टेस्ट ?
अगले महीने मुझे लंदन जाना है और मैं 2 साल बाद वापस आऊंगी। क्या इन 2 सालों में तुम्हारा प्यार मेरे लिए वैसा ही रहेगा जैसा आज है।
अगर इतनी दूरी भी हम लोगों को अलग नहीं कर पाई तो ही हमारा प्यार सच्चा है।
अंश के पास और कोई चारा नहीं रहता क्योंकि अगर दिव्या अपने प्यार का इजहार भी कर देती है ,तो अगले महीने तो उसको जाना ही है।
अंश थोड़ा दुखी हो जाता है और कहता है चलो फिर ठीक है हम एक दूसरे के अच्छे दोस्त तो है ही और तुमको पता है मैं तुमसे प्यार करता हूं। सच्चे प्यार की कहानी – True Love Story In Hindi
पर तुम मुझे बस इतना बता दो कि तुम मुझसे प्यार करती हो कि नहीं ?उसके बाद हम दोस्त जैसे ही रह लेंगे और जब तुम लंदन से वापस आओगी तो हमारे प्यार की परीक्षा भी पूरी हो जाएगी।
दिव्या धीरे से मुस्काती है और कहती मैं तो तुमसे स्कूल के वक्त से ही प्यार करती हूं।
बस कभी कहा नहीं और किस्मत ने हमें मिला दिया नहीं तो शायद मैं कभी कह भी नहीं पाती। बस दोनों एक दूसरे से बात करने लगते हैं और देखते ही देखते 2 महीने बीत जाते हैं।
दोस्तों आगे की कहानी(सच्चे प्यार की कहानी – True Love Story In Hindi) आपको हमारी अगली पोस्ट में मिलेगी। आगे क्या होता है जब दिव्या 2 साल बाद वापसी आती है ?क्या दोनों अब भी साथ होते हैं। या दोनों एक दूसरे को भूल जाते हैं। यह जानने के लिए आपको हमारी अगली सच्चे प्यार की कहानी – True Love Story In Hindi को जरूर पढ़ना चाहिए |
धन्यवाद।
read more –
- Short Love Story
- सच्चे प्यार की कहानी
- Romantic Kahani
- हार्ट टचिंग लव स्टोरी
- बेवफा लव स्टोरी इन हिंदी
- रुलाने वाली लव स्टोरी
- स्कूल का प्यार