13 अप्रैल 2019 को चुनावी रैली में राहुल गांधी ने मोदी सरनेम को लेकर दिया था विवादित बयान।

जिसके बाद बीजेपी विधायक पूर्णेश मोदी ने राहुल गांधी पर मानहानि का केस किया।

23 मार्च को निचली अदालत ने राहुल गांधी को 2 साल की सजा सुनाई।

2 साल की सजा के कारण राहुल गांधी की संसद सदस्यता समाप्त हुई।

20  अप्रैल को सेशन  कोर्ट ने राहुल गांधी की याचिका खारिज कर पहला झटका दिया।

7 जुलाई को हाई कोर्ट ने राहुल गांधी की याचिका रद्द की और तीसरा बड़ा झटका दिया।

राहुल गांधी  को अब सुप्रीम कोर्ट राहत दे सकता है।

राहुल गांधी सुप्रीम कोर्ट में अपील नहीं करते तो 2024 के चुनाव में वह अपात्र घोषित हो जाएंगे।